गोल्ड फंड : मूलाधार विचार करने योग्य बातें और निवेश कैसे करें

गोल्ड फंड एक प्रकार का निवेश फंड है जो सोने से संबंधित संपत्ति में निवेश करता है। निवेश भौतिक सोने या सोने की खनन कंपनियों के रूप में हो सकता है। इस तरह के फंड में निवेश करके कोई भी व्यक्ति बिना भौतिक रूप से होल्ड किये सोना रख सकता है।

गोल्ड फंड कई प्रकार के होते हैं:

गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड (ETF): गोल्ड ETF एक्सचेंज ट्रेडेड फंड हैं जहां अंतर्निहित संपत्ति सोना है। इसलिए, गोल्ड ETF का मूल्य सोने की कीमत पर निर्भर करता है। ETF में निवेश करने के लिए डीमैट खाते की जरूरत होती है।

गोल्ड फंड ऑफ फंड (FoF): गोल्ड FoF गोल्ड ETF की इकाइयों में निवेश करता है और इसके लिए डीमैट खाते की आवश्यकता नहीं होती है।

गोल्ड फंड्स का उद्देश्य क्या है

इक्विटी और डेब्ट जैसे अन्य परिसंपत्ति वर्गों के साथ इसके कम सहसंबंध के कारण सोना एक सुरक्षित निवेश विकल्प होने के साथ-साथ एक अच्छा डायवर्सिफायर साबित हुआ है। गोल्ड फंड उन उपकरणों पर भरोसा करते हैं जो सीधे सोने की कीमतों से जुड़े होते हैं और गोल्ड बुलियन में निवेश करते हैं। गोल्ड फंड किसी भी व्यक्ति के लिए एक आदर्श निवेश उपकरण हो सकता है जो अपनी पूंजी को मुद्रास्फीति और वर्तमान समय में हम जिन अनिश्चितताओं का सामना कर रहे हैं, से बचाना चाहते हैं। यह एक सुरक्षित निवेश विकल्प है क्योंकि सोने की दरों में अक्सर उतार-चढ़ाव नहीं होता है।

गोल्ड म्यूचुअल फंड कैसे काम करता है

गोल्ड फंड ओपन-एंडेड फंड हैं जो गोल्ड ETF, गोल्ड बॉन्ड और गोल्ड कमोडिटी की इकाइयों में निवेश करते हैं। इस तरह के फंड का प्राथमिक लक्ष्य सोने को एक अंतर्निहित के रूप में उपयोग करके धन बनाना है

ऐसे फंड पेशेवर रूप से विशेषज्ञ फंड मैनेजरों द्वारा प्रबंधित किए जाते हैं जो फंड के उद्देश्य के अनुसार सोने में निवेश कैसे करें निवेश कॉल लेते हैं।

क्या गोल्ड फंड में निवेश करना सुरक्षित है

हां, सोने में निवेश करना सुरक्षित है। यह इस तथ्य के कारण है कि इस तरह के फंड एक अत्यधिक तरल संपत्ति वर्ग हैं और इसमें फंड फंस नहीं जाते हैं । इसके अलावा, निवेशक को भौतिक सोने को सुरक्षित रखने या इसके भंडारण पर धन खर्च करने की जिम्मेदारी लेने की आवश्यकता नहीं है।

हालांकि, कीमत में उतार-चढ़ाव के कारण कीमत में उतार-चढ़ाव हो सकता है।

गोल्ड फंड में किसे निवेश करना चाहिए

गोल्ड निवेश से लाभ की तलाश करने वाले निवेशक निवेश करने पर विचार कर सकते हैं क्योंकि यह विभिन्न लाभ प्रदान करता है जैसे –

  • निवेशक पोर्टफोलियो में परिसंपत्ति वर्गों के विविधीकरण की अनुमति देता है
  • उच्च तरलता
  • मुद्रास्फीति के खिलाफ एक बचाव है
  • सबसे वांछित वस्तु
  • निवेश राशि में लचीलापन

कर-निर्धारण

गोल्ड फंड रिटर्न पर शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन के रूप में कर लगाया जाता है, जो 36 महीने से कम अवधि के निवेश पर लगाया जाता है। ऐसे निवेश पर निवेशक के आयकर स्लैब के अनुसार कर लगाया जाता है।

लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन्स 36 महीने से अधिक की अवधि के निवेश पर लगाया जाता है। ऐसे निवेशों पर मुद्रास्फीति सूचकांक का लाभ प्रदान करने के बाद 20% का कर लागू होता है।

एक निवेशक के रूप में विचार करने योग्य बातें

गोल्ड फंड ब्याज और लाभांश के रूप में नियमित आय प्रदान नहीं करते हैं। सोने से आपको केवल तभी आय हो सकती है जब इसे खुले बाजार में बेचा जाए

मूल्य सुधार से अस्थिरता हो सकती है

गोल्ड फंड में निवेश कैसे करें

कोई भी निवेशक निम्नलिखित आसान स्टेप्स में निवेश के माध्यम से निवेश का लाभ उठा सकता है:

स्टेप 1:

अपना मूल केवाईसी जानकारी प्रदान करके निवेश में एक खाता बनाएं। (यदि आपके पास पहले से खाता है तो बस अपने खाते में लॉगिन करें)

स्टेप 2:

अपने पोर्टफोलियो पेज पर स्क्रीन के ऊपर दाहिने कोने पर Buy New (नया खरीदें) बटन पर क्लिक करें। श्रेणी का चयन करें और वे फंड चुनें जिन्हें आप खरीदना चाहते हैं। यदि आप पहले से ही खरीदने के लिए फंड का नाम जानते हैं, तो आप क्विक ऑर्डर के माध्यम से विशेष फंड की खोज कर सकते हैं।

स्टेप 3:

श्रेणी का चयन करें और वे फंड चुनें जिन्हें आप खरीदना चाहते हैं।

स्टेप 4:

यदि आप पहले से ही खरीदने के लिए फंड का नाम जानते हैं, तो आप क्विक ऑर्डर के माध्यम से विशेष फंड की खोज कर सकते हैं।

स्टेप 5:

ट्रांसेक्शन की जानकारी भरें और पुष्टि करें। आप एक बार में अधिकतम 5 ऑर्डर दे सकते हैं।

स्टेप 6:

आप अपने पंजीकृत खाते के माध्यम से यूपीआई, डायरेक्ट पे, या एनईएफटी/आरटीजीएस, बैंक मैंडेट या चेक के माध्यम से पेमेंट कर सकते हैं। उसी दिन एनएवी के लिए, यूपीआई, डायरेक्ट पे या एनईएफटी / आरटीजीएस का चयन करें क्योंकि अन्य भुगतान विकल्पों को क्लियर होने में कुछ दिन लग सकते हैं, नोडल अकाउंट को स्वीकृत मैंडेट से भुगतान क्लियर करने में लगभग 1-2 दिन लगते हैं और चेक में लगभग 2-5 दिन लगते हैं। समाशोधन में जिसके कारण आपको उसी दिन एनएवी नहीं मिलेगी।

पूछे जाने वाले प्रश्न

1. क्या गोल्ड फंड सोने में निवेश कैसे करें में निवेश करना सही है?

गोल्ड फंड के कई लाभ हैं क्योंकि यह एक अत्यधिक तरल संपत्ति है और विविधीकरण की अनुमति देता है जो मुद्रास्फीति के खिलाफ बचाव के रूप में कार्य करता है।

2. म्यूचुअल फंड में गोल्ड फंड क्या है?

गोल्ड फंड ओपन-एंडेड फंड हैं जो गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड (ETF) की इकाइयों या इससे संबंधित संस्थाओं में निवेश करते हैं।

3. गोल्ड ETF या गोल्ड फंड में से कौन सा बेहतर है ?
दोनों गोल्ड में निवेश करने के अच्छे तरीके हैं, हालांकि, गोल्ड ETF के लिए एक डीमैट खाते की आवश्यकता होती है और साथ ही यह SIP निवेश का लाभ प्रदान नहीं करता है।

4. गोल्ड म्यूचुअल फंड कहां निवेश करते हैं?

गोल्ड फंड एक प्रकार का निवेश फंड है जो सोने से संबंधित संपत्ति में निवेश करता है। निवेश भौतिक सोने या सोने की खनन कंपनियों के रूप में हो सकता है। इस तरह के फंड में निवेश करके कोई भी व्यक्ति बिना भौतिक कब्जे के सोना रख सकता है।

5. गोल्ड म्यूचुअल फंड में कब करें निवेश?

निवेशकों को सोने में निवेश करने से पहले बाजार की गतिशीलता को देखना चाहिए। आमतौर पर जब शेयर बाजार में गिरावट आती है तो सोने की कीमतों में तेजी आती है। इसलिए निवेशकों को घबराहट या जल्दबाजी में अपना पैसा निवेश नहीं करना चाहिए।

निवेश पर अच्छे रिटर्न के लिए क्या है बेहतर विकल्प, आइये जानें

नई दिल्ली, डेस्क रिपोर्ट। अक्सर लोग निवेश करने से पहले इस उलझन में फंसे रहते हैं कि सोना-चांदी, रियल एस्टेट, फिक्स डिपॉजिट या शेयर बाजार और म्यूचुअल फंड में से किस एसेट क्लास में निवेश किया जाए, ताकि बेहतर रिटर्न मिले। निवेश सलाहकार (investment advisor) का कहना है कि इनमें कोई भी निवेश विकल्प सबसे बढ़िया या खराब नहीं है। अच्छा निवेश विकल्प व्यक्ति की जरूरतों, वित्तीय लक्ष्य और जोखिम उठाने की क्षमता पर निर्भर करता है।

कैसे तय करें विकल्प

सोना और रियल एस्टेट, दोनों लंबी अवधि के लिए अच्छे निवेश विकल्प हैं। गोल्ड भारत में भरोसेमंद निवेश के तौर पर देखा जाता है। आप फिजिकल गोल्ड के साथ डिजिटल गोल्ड और सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड में निवेश कर सकते हैं। सोना महंगाई के खिलाफ सबसे सुरक्षित निवेश है। वहीं, रियल एस्टेट हमेशा ही एक बड़े निवेश के तौर पर देखा जाता है। रियल एस्टेट में जहां जोखिम सोने में निवेश कैसे करें कम रहता है, वहीं, गोल्ड में चोरी होने का डर बना रहता है। रियल एस्टेट में अतिरिक्त टैक्स बेनिफिट के साथ नियमित आय पैदा करने की क्षमता है। चाहे आवासीय हो या वाणिज्यिक, रियल एस्टेट में मासिक किराए के रूप में निवेशकों के लिए आय उत्पन्न करने की क्षमता होती है, जो कि सोने के निवेश में संभव नहीं है। जबकि इक्विटी और म्यूचुअल फंड में लंबी अवधि मे सबसे अधिक रिटर्न मिलता है, पर इनमें जोखिम भी सबसे अधिक है, तो आइये जानते है…

रियल एस्टेट
प्रॉपर्टी में निवेश मोटी पूंजी निवेश करने वालों के लिए अतिरिक्त आय का बेहतर विकल्प है। इसमें प्रॉपर्टी की कीमत और वैल्यू लगातार बढ़ती जाती है, लेकिन इसके रजिस्ट्रेशन में स्टांप ड्यूटी सहित कई तरह के शुल्क चुकाने पड़ते हैं। इसके मेंटेनेंस की लागत भी अधिक है व तरलता की कमी है।

जो निवेशक मासिक नियमित आय चाहते हैं और जो लंबी अवधि के लिए मोटा निवेश कर सकते हैं, यह उनके लिए बेहतर है।

इक्विटी में बेहतर रिटर्न
कंपनियों के स्टॉक्स यानी इक्विटी में सबसे अधिक जोखिम है, लेकिन इसमें रिटर्न भी अधिक है। निवेशक इसमें 500-1000 रुपए की छोटी रकम भी निवेश कर सकते हैं। अगर लंबी अवधि के लिए निवेश किया जाए तो सालाना 14 से 15 फीसदी तक रिटर्न मिल सकता है। हालांकि बाजार की उठापटक के कारण शॉर्ट टर्म में पैसे डूबने का जोखिम भी अधिक होता है।

जो निवेशक जोखिम उठाकर अधिक रिटर्न पाना चाहते हैं, सोने में निवेश कैसे करें यह उनके लिए सबसे बेहतर विकल्प है। लेकिन निवेशकों को कम से कम 5 साल के लिए निवेश करना चाहिए।

सोना
गोल्ड में निवेश हमेशा बेहतर विकल्प रहा है। इसमे लंबी अवधि में तगड़ा रिटर्न मिला है, लेकिन वैश्विक कारणों और रुपए में उतार-चढ़ाव से सोने की कीमतों में भी उतार-चढ़ाव देखने को मिलता है। साथ ही यह शॉर्ट टर्म के लिए अच्छा निवेश विकल्प नहीं है। साथ ही टैक्स बेनिफिट भी नहीं मिलता है।

जो कमोडिटीज में निवेश कर लंबी अवधि में मुनाफा कमाना चाहते हैं और महंगाई दर से अधिक स्थिर रिटर्न चाहते हैं। साथ ही जोखिम भी नहीं लेना चाहते, उनके लिए सोना बेहतर विकल्प है। पिछले 10 साल में गोल्ड ने औसतन 10 फीसदी रिटर्न दिया है।

म्यूचुअल फंड
म्यूचुअल फंड्स इक्विटी, सरकारी प्रतिभूतियों, सोना, कॉर्पोरेट बॉन्ड जैसे कई एसेट क्लास में निवेश करते हैं, जिससे निवेश का जोखिम कम हो जाता है और बेहतर रिटर्न मिलता है। इक्विटी में निवेश करने वाले म्यूचुअल फंड किसी एक कंपनी के शेयर में निवेश नहीं करते, बल्कि कई कंपनियों के शेयर में निवेश करते हैं। म्यूचुअल फंड्स में सालाना औसतन 10 से 12 फीसदी रिटर्न मिलता है।

अगर जो निवेशक सीधे स्टॉक में निवेश करने से घबराते हैं, लेकिन मध्यम से ऊंचा स्तर का जोखिम उठाने को तैयार हैं, उनके लिए म्यूचुअल फंड्स बेहकर रिटर्न पाने का बेहतर विकल्प है।

महिलाएं इन आसान टिप्स को ध्यान में रखकर कर सकती हैं गोल्ड इन्वेस्टमेंट, जानिए फायदे और निवेश का तरीका

Gold Investment For Women: जानिए गोल्ड इन्वेस्टमेंट को निवेश के सबसे बेहतर ऑप्शंस में क्यों गिना जाता है और इससे क्या-क्या फायदे मिलते हैं.

महिलाएं इन आसान टिप्स को ध्यान में रखकर कर सकती हैं गोल्ड इन्वेस्टमेंट, जानिए फायदे और निवेश का तरीका

Guide to invest in gold: महिलाएं इस तरह कर सकती हैं गोल्ड में निवेश.

Investment: महिलाएं आर्थिक रूप से सक्षम होती जा रही हैं और ऐसे में उन्हें निवेश के अलग-अलग तरीकों को अपनाने के बारे में पता होना चाहिए. गोल्ड इंवेस्टमेंट (Gold Investment) को महिलाओं के लिए एक अच्छे ऑप्शंस के रूप में देखा जाता है जिसका एक कारण कम समय में ज्यादा फायदा मिलना भी है. हालांकि, ऐसी बहुत सी महिलाएं हैं जो कामकाजी होने के बावजूद पैसों से जुड़े मसलों से खासा दूरी बनाकर रखती हैं. लेकिन, पैसे अपने हाथ में हों तो उनके सही निवेश और भविष्य में फायदा उठाने से भला क्यों पीछे हटना. महिलाओं को गहने खरीदने का शौक भी होता है और उनके पास ढेरों गहने मौजूद होते हैं जिन्हें वे निवेश कर सकती हैं.

यह भी पढ़ें

महिलाएं कैसे करें गोल्ड निवेश | How Women Can Invest In Gold

गोल्ड में निवेश करने पर अच्छे रिटर्न्स ( Returns) मिलते हैं. अगर वार्षिक तौर पर देखें तो साल 2020 तक गोल्ड निवेश में 9.6 फीसदी से ज्यादा रिटर्न देखा गया है. कई आंकड़ों के मुताबिक गोल्ड निवेश में एतिहासिक तौर पर फायदा मिला है चाहे मार्केट इंक्विटी कम ही क्यों ना रही हो. आप गोल्ड निवेश करने के लिए फिजिकल या डिजीटल ऑप्शन चुन सकती हैं. वहीं, गोल्ड में निवेश गहनों, सिक्कों या गोल्ड बार आदि के रूप में हो सकता है.


डिजीटल गोल्ड


अगर आप डिजीटल गोल्ड (Digital Gold) में विनेश करती हैं तो इसे कई एप्स के माध्यम से खरीदा जा सकता है और शुरूआती गोल्ड आपको 1 ग्राम तक खरीदना होता है. इसमें आपको गोल्ड के मेकिंग चार्जेस, शुद्धता और फिजिकल गोल्ड को लेकर घूमने की या तनाव लेने की जरूरत नहीं पड़ती. अविवाहित महिलाओं के लिए यह एक अच्छा चुनाव हो सकता है.


गोल्ड म्यूचल फंड

इस म्यूचल फंड को अलग-अलग कंपनियां हैंडल करती हैं और आपको फंड स्ट्रक्चर के सोने में निवेश कैसे करें बारे में समझाती हैं. आप गोल्ड म्यूचल फंड में बैंक्स के ऐप के माध्यम से भी निवेश कर सकती हैं.

गोल्ड ETFs

इस निवेश में आपको अपना गोल्ड स्टॉक एक्सेंच में देना होता है. इसमें आप डीमैट अकाउंट पर भी गोल्ड रख सकती हैं.

सोवरेग्न गोल्ड बोंड्स

निवेश के सबसे अच्छे तरीकों में सोवरेग्न गोल्ड बोंड्स को गिना जाता है. मान लीजिए आपने एक ग्राम गोल्ड 4,800 रुपए में खरीदा है और 7-8 साल बाद इसकी कीमत 6000 हो जाती है तो आपको प्रति ग्राम 1200 रुपए का मुनाफा होगा. इसके अलावा आपको हर साल निवेश का मुनाफा मिलता है सो अलग.

कैसे तय करें सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड या डिजिटल गोल्ड किसमें पैसा लगाना फायदेमंद, कहां ज्यादा रिटर्न मिलेगा

जनता से रिश्ता वेबडेस्क | निवेश के विकल्प हर रूप में आते हैं चाहे वह स्टॉक (Stock) में निवेश हो या सोने (Gold) में. सोने की बात करें तो भारत में निवेश के लिए सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड (Sovereign Gold Bond) और डिजिटल गोल्ड (Digital Gold) जैसे विकल्प मौजूद हैं. सोने में निवेश के ये अच्छे विकल्प हैं. हालांकि समस्याएं तब पैदा होती हैं जब आप नहीं जानते कि आपको कहां निवेश करना चाहिए और किसमें निवेश करना सुरक्षित है? सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड (SGB) भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) के मुताबिक, ग्राम में अंकित सरकारी सिक्योरिटीज हैं. इनका फिजिकल गोल्ड जैसे गहने या गोल्ड बार जैसा इस्तेमाल नहीं किया जा सकता है.

आपको बता दें कि सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड यानी एसजीबी की अगली किस्त 10 जनवरी, 2022 से सब्सक्रिप्शन के लिए खुल रही है. आरबीआई ने बॉन्ड की नई किस्त के लिये इश्यू प्राइस 4,786 रुपये प्रति ग्राम तय किया है. बॉन्ड आरबीआई द्वारा भारत सरकार की ओर से जारी किया जाता है. आइए जानते हैं डिजिटल गोल्ड और सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड में से निवेश का कौन है बेहतर विकल्प?

सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड में एक वित्त वर्ष में एक व्यक्ति कम से कम 1 ग्राम और अधिकतम 4 किलोग्राम सोना खरीद सकता है. वहीं एचयूएफ 4 किलोग्राम और ट्रस्ट 20 किलोग्राम तक के गोल्ड बॉन्ड खरीद सकते हैं.

सॉवरेन गोल्‍ड बॉन्‍ड के निवेशकों को हर साल 2.5 फीसदी की सालाना दर से ब्‍याज मिलेगा. यह ब्‍याज छमाही आधार पर मिलेगा. रिडम्पशन पर कोई कैपिटल गेन टैक्स नहीं लगेगा. लोन के लिए कोलैटरल के रूप में इस्तेमाल किया जा सकता है.

सुरक्षित, फिजिकल गोल्ड की तरह स्टोरेज की कोई परेशानी नहीं है. एक्सचेंजों पर ट्रेड कर सकते हैं. फिजिकल गोल्ड के विपरीत कोई जीएसटी और मेकिंग चार्ज नहीं लगता है.

बॉन्ड डायरेक्ट या शेड्यूल्ड प्राइवेट बैंकों, नामित डाकघरों, शेड्यूल्ड विदेशी बैंकों, सरकारी बैंकों, स्टॉक होल्डिंग कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया लिमिटेड (SHCIL) और लाइसेंस प्राप्त स्टॉक एक्सचेंजों के एजेंटों के जरिये खरीदे जा सकते हैं.

सॉवरेन बांड उनके उपयोग में सीमित हैं और उन्हें कम से कम पांच साल तक रखा जाना चाहिए. पांच साल की अवधि बीत जाने के बाद भी बॉन्ड अगले 8 वर्षों तक मैच्योर नहीं होंगे. मैच्योरिटी से पहले बेचने ट्रांजैक्शन एक्सपेंस अधिक हैं. दुनिया के सबसे अधिक लिक्विडिटी वाले बाजारों में से एक में डिजिटल गोल्ड बिना किसी अतिरिक्त खर्च के किसी भी समय उपलब्ध हो सकता है.

डिजिटल गोल्ड सोना खरीदने का एक वर्चुअल तरीका है. इसमें आप निवेश करते हैं, लेकिन आप इसे फिजिकल रूप से घर पर नहीं रखते हैं. इसे ऑनलाइन खरीदा जा सकता है. डिजिटल सोना खरीदने से आप बिना किसी तिजोरी या बैंक तिजोरी के 24 कैरेट सोने को डिजिटल रूप से स्टोर कर सकते हैं.

डिजिटल गोल्ड आप कम से कम 1 रुपये में खरीद सकते हैं. इसे द्वारा बीमाकृत वॉल्ट्स में खरीदार की ओर से रखा जाता है. हालांकि, इस बात की चिंता है कि आरबीआई या भारतीय सुरक्षा विनिमय बोर्ड (सेबी) जैसी एजेंसी से कोई नियामक निगरानी नहीं होगी.

निवेशक डीमैट अकाउंट, फोनपे और पेटीएम या अन्य विकल्पों के माध्यम से डिजिटल सोना खरीद सकते हैं. यह असली सोना है. एक गोल्ड बार या एक गोल्ड बार का एक टुकड़ा एक निवेशक के पास होता है.

गुडरिटर्न्स की रिपोर्ट के मुताबिक, व्यापारिक व्यवसाय आपके नाम से उतनी ही मात्रा में असली सोना खरीदते हैं और डिजिटल सोने में निवेश करने के बाद उसे सुरक्षित तिजोरियों में रख देते हैं. यदि आप सोने के सिक्कों और छड़ों में निवेश करते हैं, तो आप बहुत सारा पैसा कमाने का एक शानदार अवसर गंवा रहे हैं. बाजार में ऐसे सोने के बांड हैं जो आपको बैंक सावधि जमा के समान एक निर्धारित ब्याज दर का भुगतान करते हुए कीमतों में उतार-चढ़ाव से लाभ उठाने की अनुमति देते हैं. सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड फिजिकल गोल्ड खरीदने का एक लो कॉस्ट और हाई क्वालिटी वाला विकल्प है.

गोल्ड का व्यापार कैसे करें: गोल्ड ट्रेडिंग रणनीतियाँ

How to Trade Gold

सोना दरअसल कमोडिटी बाजार में सबसे ज्यादा कारोबार करने वाली और लोकप्रिय कीमती धातु है। यह कई कारकों के कारण एक बहुत ही आकर्षक निवेश है; उदाहरण के लिए, व्यापारी जोखिमों में विविधता लाने के लिए सोने में निवेश करते हैं, अधिकांश देशों में सोना सबसे स्थिर सुरक्षित स्वर्ग है, बाजार शारीरिक रूप से पीली धातु के मालिक के बिना भी सोने में निवेश करने के विभिन्न तरीके प्रदान करते हैं, आदि.

हालांकि, किसी भी अन्य बाजार की तरह, सोने का बाजार भी अस्थिरता और अटकलों के लिए असुरक्षित है। भू-राजनीतिक और आर्थिक अनिश्चितता, महत्वपूर्ण आर्थिक आंकड़े, प्रमुख मुद्राएं (विशेष रूप से अमरीकी डालर) दरें, आपूर्ति/मांग अनुपात सोने की कीमतों को गंभीरता से प्रभावित कर सकते हैं। यही कारण है कि एक उपयुक्त और बुद्धिमान सोने के व्यापार की रणनीति विकसित करना और उससे चिपके रहना इतना महत्वपूर्ण है। उदाहरण के लिए, XAUUSD ट्रेडिंग एक नौसिखिए व्यापारी के लिए भी एक उत्कृष्ट विकल्प हो सकता है, जिसने एफएक्स और कमोडिटी ट्रेडिंग की मूल बातें सीखी हैं और कारोबार किए गए साधन के तकनीकी विश्लेषण पर विचार करते हुए लगातार सोने की कीमत चार्ट पर नज़र रखता है.

सोने के व्यापार का एक संक्षिप्त इतिहास

गोल्ड प्राचीन काल से ही एक अत्यधिक मांग और सराहना की गई है। इसकी कमी, खेतों तक खराब पहुंच और दुर्गम खनन के कारण मांग हमेशा अधिक रही है.

दुनिया भर में लोग हमेशा सोने की खानों और व्यापार को नियंत्रित करना चाहते थे। सोने के गहने में व्यापक रूप से इस्तेमाल किया गया था और हजारों साल के लिए व्यापार के लिए एक स्थिर मुद्रा हुआ करता था । सोना एक आकर्षक निवेश क्यों रहता है? क्योंकि यह उन धातुओं को संदर्भित करता है जो जीर्णशीर्ण नहीं होती हैं.

सभी रूप से, स्मार्टफोन उद्योग और इलेक्ट्रॉनिक्स में एक उपयोगी विद्युत घटक के रूप में सोने का उपयोग किया गया है। और जैसा कि अभी भी दुनिया में पीली धातु के लिए एक उच्च आवश्यकता है, ऑनलाइन व्यापारियों के लिए यह बहुत महत्वपूर्ण है कि वे बाजारों में सोने का व्यापार करने के तरीके की मूल बातें सीखें.

यह एक रहस्य नहीं है कि इस कीमती धातु को अभी भी "सुरक्षित आश्रय" माना जाता है, जिसका अर्थ है कि जब बाजार अत्यधिक अस्थिर होते हैं, तो व्यापारी अक्सर सोने के उद्धरणों में छलांग लगा सकते हैं क्योंकि व्यापारी अपने पैसे को सोने में निवेश करते हैं.

एक विश्वसनीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर मान्यता प्राप्त ब्रोकर के साथ व्यापार करें

15 Years Anniversary

1978 और यह लाया परिवर्तन

प्राचीन काल से 20 वीं शताब्दी तक, किसी भी राज्य के सिक्कों का मूल्य मज़हब से नहीं बल्कि सोने की मात्रा से निर्धारित किया गया था, जिस पर आधारित था, जो "पेपर मनी" के युग में भी संयुक्त राज्य अमेरिका में 1 9 71 में समाप्त "सोने के मानक" के रूप में काम करता था। 1978 में, G7 नेताओं की जमैका बैठक के बाद, दुनिया ने सोने या डॉलर के लिए राष्ट्रीय मुद्राओं को खूंटी से इनकार करने के कारण मौद्रिक प्रणाली में वैश्विक सुधार देखा है, जिसके कारण विदेशी मुद्रा एमए का उद्भव हुआ.

इस फैसले के प्रमुख बाद अमेरिकी डॉलर के माध्यम से सभी मुद्राओं का मूल्यांकन किया गया, जो दुनिया के अग्रणी राज्यों के प्रमुखों द्वारा अपनाया गया था । "गोल्ड स्टैंडर्ड" * से मुद्राओं के अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष द्वारा 1978 में आधिकारिक अनुसमर्थन के बाद, अमेरिकी फेडरल रिजर्व तेजी से संचलन में सोने समर्थित डॉलर के हिस्से को कम कर दिया है । तब से, असुरक्षित मुद्रित बैंक नोटों की संख्या केवल बढ़ी है .

* एक स्वर्ण मानक एक मौद्रिक प्रणाली है जिसमें खाते की मानक आर्थिक इकाई सोने की एक निश्चित मात्रा पर आधारित है.

आजकल सोने का व्यापार करने के तरीके

बाजार सोने में निवेश करने के लिए कई अलग-अलग तरीके प्रदान करता है, आइए उनमें से सबसे लोकप्रिय मानते हैं:

रेटिंग: 4.14
अधिकतम अंक: 5
न्यूनतम अंक: 1
मतदाताओं की संख्या: 628