UPI की तरह ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म ट्रांसफॉर्म होगा; देखिए ONDC के COO विभोर जैन के साथ खास बातचीत

ई-कॉमर्स क्रांति लाएगा ONDC. UPI की तरह ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म ट्रांसफॉर्म होगा. अभी ONDC के ऑनबोर्डिंग के लिए कोई चार्जेस नहीं है. देखिए ONDC के COO विभोर जैन के साथ अनुराग शाह की खास बातचीत.

ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर मौजूद फर्जी रिव्यू पर सरकार की नजर, जल्द करेगी कंपनियों के साथ बैठक

केंद्र सरकार जल्द ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म्स पर फर्जी रिव्यू पर चर्चा करने के लिए ई-कॉमर्स कंपनियों और हितधारकों के साथ बैठक करेगी और आगे के रोडमैप को तैयार करेगी. यह बैठक उपभोक्ता मामलों का विभाग आयोजित करेगा.

ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर मौजूद फर्जी रिव्यू पर सरकार की नजर, जल्द करेगी कंपनियों के साथ बैठक

केंद्र सरकार जल्द ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म्स पर फर्जी रिव्यू पर चर्चा करने के लिए ई-कॉमर्स कंपनियों और हितधारकों के साथ बैठक करेगी.

केंद्र सरकार जल्द ई-कॉमर्स (E Commerce) प्लेटफॉर्म्स पर फर्जी रिव्यू (Fake ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है Reviews) पर चर्चा करने के लिए ई-कॉमर्स कंपनियों और हितधारकों के साथ बैठक करेगी और आगे के रोडमैप को तैयार करेगी. यह बैठक (Meeting) उपभोक्ता मामलों का विभाग आयोजित करेगा. इस बैठक में इस पर चर्चा होगी कि ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म्स पर फर्जी रिव्यू का स्तर क्या है, जिससे ग्राहक ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है ऑनलाइन सर्विस (Online Services) या प्रोडक्ट्स को खरीदने के लिए तैयार हो जाते हैं. बैठक में इसका स्तर देखने और आगे के रोडमैप पर विस्तार में चर्चा की जाएगी.

उपभोक्ता मामलों का विभाग एडवरटाइजिंग स्टैंडर्ड्स काउंसिल ऑफ इंडिया (ASCI) के साथ मिलकर शुक्रवार को अलग-अलग हितधारकों के साथ इस मामले में बैठक करेगा.

सरकार ने सभी हितधारकों को बुलाया

चर्चा फर्जी और गुमराह करने वाले रिव्यू के ग्राहकों ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है पर असर और इसे रोकने के लिए मुमकिन कदमों पर आधारित होगी. इस मामले में उपभोक्ता मामलों के विभाग के सचिव रोहित कुमार सिंह ने सभी हितधारकों को खत लिखा है. इनमें ई-कॉमर्स इकाइयां जैसे फ्लिपकार्ट, अमेजन, टाटा संस, रिलायंस रिटेल आदि शामिल हैं. इसके अलावा कंज्यूमर फोरम, लॉ यूनिवर्सिटी, वकील, फिक्की, सीआईआई, ग्राहकों के अधिकारों के कार्यकर्ता आदि भी बैठक में हिस्सा लेंगे.

इसके अलावा आपको बता दें कि भारत में अमेजन (Amazon)और Walmart जैसी यूएस-आधारित ई-कॉमर्स कंपनियों के प्रभाव को खत्म करने के लिए भारत सरकार डिजिटल कॉमर्स के लिए एक ओपन नेटवर्क लॉन्च करने के लिए पूरी तरह तैयार है. नया ONDC प्लेटफॉर्म खरीदारों और सेलर को एक-दूसरे के साथ इंटरेक्ट करने और ऑनलाइन ट्रांजेक्शन करने की सुविधा देगा. ONDC प्लेटफार्म को लॉन्च Amazon और वॉलमार्ट के कुछ Flipkart के डोमेस्टिक सेलर्स पर भारत के एंटीट्रस्ट बॉडी छापे को देखते हुए आया है.

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कंपनी पर नियमों का उल्लंघन करने का आरोप लगाया गया था. ओएनडीसी के लॉन्च के साथ, सरकार का टारगेट इलेक्ट्रॉनिक नेटवर्क के माध्यम से गुड्स एंड सर्विसेज के एक्सचेंज के लिए एक ओपन प्लेटफॉर्म को बढ़ावा देना है. जानकारी के मुताबिक, ओपन नेटवर्क प्लेटफॉर्म दिल्ली एनसीआर, बेंगलुरु, भोपाल, शिलांग और कोयंबटूर सहित पांच शहरों में लॉन्च किया जाएगा. बाद में इसका विस्तार दूसरे शहरों में किया जाएगा. मोदी सरकार और उसके प्रमुख समर्थकों ने लंबे समय से तर्क दिया है कि अमेजन और फ्लिपकार्ट केवल कुछ बड़े सेलर को ही बेनेफिट करते हैं.

Shiba Inu होल्डर्स के लिए ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म Shopping.io पर आया खास ऑफर

ऑफर दो हफ्ते के लिए वैध है जिसके मुताबिक, Shopping.io पर शॉपिंग करने वाले कस्टमर्स, जो शिबा इनु में पेमेंट करेंगे, उन्हें 2 प्रतिशत का खास डिस्काउंट दिया जाएगा और शिपिंग भी फ्री होगी

Shiba Inu होल्डर्स के लिए ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म Shopping.io पर आया खास ऑफर

Shiba Inu होल्डर्स के लिए ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म Shopping.io ने खास ऑफर निकाला है

खास बातें

  • Shopping.io को 2020 में लॉन्च किया गया था
  • यह कस्टमर्स को 200 से ज्यादा क्रिप्टोकरेंसी में शॉपिंग की देता है एक्सेस
  • कस्टमर्स Amazon, eBay, Walmart आदि से कर सकते हैं क्रिप्टो में शॉपिंग

Shiba Inu इन दिनों काफी चर्चा में बना हुआ है. अब इसके होल्डर्स के लिए ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म Shopping.io ने खास ऑफर निकाला है. Shopping.io एक ऐसा ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म है जो बड़े रिटेलर्स जैसे Amazon, eBay, Walmart और कई अन्य ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफॉर्म से क्रिप्टोकरेंसी में शॉपिंग करने की सुविधा मुहैया करवाता है. हाल ही में प्लेटफॉर्म ने शिबा इनु को अपने पोर्टफोलियो में जोड़ा था. अब इस दिग्गज ऑनलाइन शॉपिंग कंपनी ने शिबा इनु के होल्डर्स के लिए खास डिस्काउंट ऑफर निकाला है.

Shopping.io ने Shiba Inu होल्डर्स के लिए घोषणा कर कहा है कि अब इस मीम क्रिप्टोकरेंसी को होल्ड करने वाले कस्टमर्स को फ्री शिपिंग का मौका दिया जा रहा है. इसके साथ ही 2% डिस्काउंट भी दिया जा रहा है. यह ऑफर दो हफ्ते के लिए वैध है. Shopping.io पर शॉपिंग करने वाले कस्टमर्स, जो शिबा इनु में पेमेंट करेंगे, उन्हें 2 प्रतिशत का खास डिस्काउंट दिया जाएगा और शिपिंग भी फ्री होगी. पेमेंट के लिए कंपनी CoinPayments नामक पॉपुलर पेमेंट गेटवे का इस्तेमाल करती है.

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Shopping.io को 2020 में लॉन्च किया गया था, जो कस्टमर्स को लगभग 200 से ज्यादा क्रिप्टोकरेंसी में शॉपिंग करने की एक्सेस देती है. इसके कस्टमर्स बड़े ऑनलाइन शॉपिंग प्लेटफॉर्म्स जैसे Amazon, eBay, Walmart आदि से क्रिप्टो में पेमेंट करके ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है शॉपिंग कर सकते हैं. कंपनी का दावा है कि ब्लॉकचेन टेक्नोलॉजी की मदद से वह सप्लाई चेन की क्षमता को बढ़ा सकती है. Shopping.io से शॉपिंग करने के लिए यूजर को प्लेटफॉर्म पर एक अकाउंट बनाकर स्वयं को रजिस्टर करवाना होता है. उसके बाद यूजर डैशबोर्ड पर जाकर विभिन्न कंपनियों के प्लेटफॉर्म से ऑनलाइन शॉपिंग कर सकते हैं और पेमेंट के लिए क्रिप्टोकरेंसी का इस्तेमाल कर सकते हैं.ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है

कंपनी यूजर्स के डेटा को एक डीसेंट्रलाइज्ड ब्लॉकचेन पर सेव करती है. कस्टमर्स के लिए डिस्काउंट की ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है इस घोषणा से पहले Shopping.io के सीईओ आर्बेल आरिफ (Arbel Arif) एक ट्वीट के माध्यम से प्लेटफॉर्म और शिबा इनु के बीच होने वाली भविष्य की पार्टनरशिप के बारे में बताया. शिबा इनु ट्रेडर्स के बीच वर्तमान में काफी पॉपुलर है. कंपनी ने इसी के मद्देनजर इसके यूजर्स के लिए डिस्काउंट जैसे ऑफर को निकाला है.

शिबा इनु की वर्तमान कीमत की बात करें तो, आज इसकी ट्रेड ओपनिंग बढ़त के साथ हुई है. दिन की शुरुआत शिबा इनु ने 2.5 प्रतिशत की बढ़त के साथ की है. खबर लिखे जाने के समय पर यह भारतीय क्रिप्टो एक्सचेंज कॉइनस्विच कुबेर पर 0.000960 रुपये पर ट्रेड कर रहा था. वहीं, CoinMarketCap का डेटा बताता है कि दुनिया की दूसरी सबसे बड़ी मीम क्रिप्टोकरेंसी में पिछले 24 घंटों में ग्लोबल लेवल पर 5.25% की बढो़त्तरी देखी ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है गई है.

ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर फर्जी और भ्रामक समीक्षाओं पर केंद्र सरकार सख्त, मानक प्रावधान जारी

केंद्र सरकार के उपभोक्ता कार्य विभाग ने ई-कॉमर्स में फर्जी और भ्रामक समीक्षाओं से उपभोक्ता हितों की सुरक्षा एवं संरक्षण के लिए सचिव रोहित कुमार सिंह ने भारतीय मानक ब्यूरो के वरिष्ठ अधिकारियों के साथ भारतीय मानक ‘ऑनलाइन उपभोक्ता समीक्षाएं- उनके संग्रह, मॉडरेशन तथा प्रकाशन के लिए सिद्धांत एवं आवश्यकताओं की रूपरेखा का शुभारंभ किया। ये मानक हर उस ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर लागू होंगे, जहां पर भी उपभोक्ता समीक्षाएं प्रकाशित की जाती हैं। मानक शुरू में सभी ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म द्वारा अनुपालन के लिए स्वैच्छिक होंगे। इस पहल का ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है पूर्ण आकलन करने के लिए बीआईएस 15 दिनों के भीतर मानक के लिए एक अनुरूपता मूल्यांकन योजना भी तैयार करेगा।

ये मानक समीक्षा लेखक और समीक्षा प्रशासक के लिए विशिष्ट उत्तरदायित्व निर्धारित करते हैं। सभी ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है तरह के समीक्षा लेखकों के लिए, इसमें नियम एवं शर्तों की स्वीकृति की पुष्टि करना, संपर्क जानकारी प्रदान करना और समीक्षा व्यवस्थापक के लिए व्यक्तिगत जानकारी तथा कर्मचारियों के प्रशिक्षण की सुरक्षा शामिल है। किसी ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है संस्था द्वारा मानकों के उल्लंघन को एक अनुचित व्यापार व्यवहार या उपभोक्ता अधिकारों का हनन माना जा ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है सकता है और एक उपभोक्ता ऐसी शिकायतों को राष्ट्रीय उपभोक्ता हेल्पलाइन, उपभोक्ता फोरम या फिर सीसीपीए को प्रस्तुत कर सकता है।

मानक संगठन की जिम्मेदारियों के लिए कई चीज़ें प्रदान करता है, जिनमें अभ्यास का एक कोड विकसित करना और नियमों एवं शर्तों जैसी पहुंच देना आदि शामिल हैं, हालांकि मानदंड तथा सामग्री सुनिश्चित करने के लिए आवश्यक शर्तों में वित्तीयजानकारी आवश्यक नहीं है। मानक ईमेल पते के माध्यम से ‘समीक्षा लेखक का सत्यापन’, टेलीफोन कॉल या एसएमएस द्वारा पहचान, एक लिंक पर क्लिक करके पंजीकरण की पुष्टि, कैप्चा सिस्टम आदि का उपयोग करके समीक्षा लेखक की प्रामाणिकता की जांच करने के तरीकों के लिए भी प्रदान करता है।

मॉडरेशन के संबंध में, मानक स्वचालित और मैन्युअल मॉडरेशन दोनों के लिए प्रदान किये जाते हैं और समीक्षा सामग्री का विश्लेषण करने के लिए जांच के अवसर प्रदान करता है। प्रकाशन के संबंध में, मानक में प्रकाशन प्रक्रिया के समय तथा प्रकाशन प्रक्रिया के बाद समीक्षा प्रशासक के विचार शामिल किये जाते हैं। इसके लिए समीक्षा की सटीकता, डिफ़ॉल्ट प्रदर्शन और रेटिंग के वेटेज को प्रकाशन प्रक्रिया में परिभाषित किया गया है।

मानक से ई-कॉमर्स पारिस्थितिकी तंत्र में सभी हितधारकों यानी उपभोक्ताओं, ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म, विक्रेताओं आदि को लाभ होने की उम्मीद है। यह उपभोक्ताओं के बीच ऑनलाइन सामान खरीदने के लिए विश्वास पैदा करने में मदद करेगा और उन्हें बेहतर खरीद निर्णय लेने में मदद करेगा।

कोविड-19 महामारी की वजह से इसके बाद के समय में देश भर में ई-कॉमर्स लेनदेन में लगातार वृद्धि हुई है। ऑनलाइन पोस्ट की गई समीक्षाएं कोई भी सामान खरीदने हेतु निर्णय लेने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती हैं ईकॉमर्स प्लेटफॉर्म क्या है और उपभोक्ता उन उपयोगकर्ताओं की राय एवं अनुभव के लिए ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर पोस्ट की गई समीक्षाओं पर अत्यधिक भरोसा करते हैं, जिन्होंने पहले से ही कोई सामान या सेवा को खरीदा हुआ है। यह देखते हुए कि ई-कॉमर्स में उत्पाद को भौतिक रूप से देखने या उसकी जांच करने के अवसर के बिना एक वर्चुअल खरीदारी का अनुभव शामिल है, इसलिए काफी हद तक यह आवश्यक है कि समीक्षा वास्तविक व प्रामाणिक हो।

उपभोक्ता कार्य विभाग ने ई-कॉमर्स में फर्जी एवं भ्रामक समीक्षाओं के प्रभाव और उपभोक्ता हित के संरक्षण को ध्यान में रखते हुए 10 जून 2022 को ई-कॉमर्स में फर्जी व भ्रामक समीक्षाओं की परख करने के उद्देश्य से एक रूपरेखा विकसित करने के लिए समिति का गठन किया था। इस समिति में ई-कॉमर्स कंपनियों, उद्योग संघों, उपभोक्ता संगठनों और कानून अध्यक्षों सहित विभिन्न हितधारक शामिल थे।

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